भारतीय रेलवे ने अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए जून 2022 में 125.50 मीट्रिक टन की रेकॉर्ड माल ढुलाई की

भारतीय रेलवे ने पिछले साल की रफ्तार को वर्ष 2022-23 में भी बरकरार रखा है और जून 2022 में 125.50 मीट्रिक टन की अब तक की सबसे ज्यादा मासिक माल ढुलाई की है। जून के महीने में 12.72 एमटी वृद्धिशील लोडिंग रही है यानी 2021 में हासिल किए गए अब तक के जून के सर्वश्रेष्ठ आंकड़ों की तुलना में 11.28 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज हुई है। इसके साथ ही, मासिक माल ढुलाई में अपना बेहतर प्रदर्शन करते हुए भारतीय रेलवे को लगातार 22 महीने हो गए हैं।

इस वृद्धि को कोयले में 13.19 एमटी, सीमेंट और क्लिंकर में 1.68 एमटी, शेष अन्य वस्तुओं में 1.57 एमटी और खाद्यान्न में 0.64 एमटी की वृद्धिशील लोडिंग से बढ़ावा मिला है। साल की पहली तिमाही में संचयी माल ढुलाई 379.4 एमटी रही है जबकि 2021-22 में यह 339.3 मीट्रिक टन रहा था। इस तरह से यह पिछले साल इसी अवधि की तुलना में 12 प्रतिशत की वृद्धि के साथ ही 40.09 एमटी की वृद्धिशील लोडिंग को दर्शाता है।

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माल ढुलाई एनटीकेएम (नेट टन किलोमीटर) जून 2021 में 63.3 अरब से बढ़कर जून 2022 में 75.8 अरब हो गई है, जो 20 प्रतिशत की वृद्धि को दिखाता है। इसकी वजह यह है कि माल ढुलाई में बढ़ोतरी के साथ फ्रेट लीड में भी वृद्धि हुई है, जो 7.4 प्रतिशत बढ़ा है। पहले तीन महीनों में संचयी एनटीकेएम में भी 19.8 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।

बिजली और कोयला मंत्रालय के साथ समन्वय में, बिजली घरों को कोयले की आपूर्ति बढ़ाने के लिए भारतीय रेलवे का लगातार प्रयास जून के महीने में माल ढुलाई में शानदार प्रदर्शन की एक प्रमुख वजह रहा है। बिजली घरों तक कोयले (दोनों घरेलू और आयातित) की ढुलाई में जून के महीने में 15.9 मीट्रिक टन की वृद्धि हुई है, जो पिछले साल 35.3 एमटी था। इस बार 45 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 51.2 एमटी कोयला पहुंच गया। इस तरह से देखें तो भारतीय रेलवे ने साल की पहली तिमाही में पिछले साल इसी अवधि की तुलना में बिजली घरों को 34.7 एमटी से ज्यादा अतिरिक्त कोयला पहुंचाया है, जो 30 प्रतिशत से भी ज्यादा है।

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बिजली घरों के लिए प्रतिदिन लोड किए गए कोयले के रेक की संख्या के हिसाब से देखें तो भारतीय रेलवे ने घरेलू कोयले के 420 से अधिक रेक और आयातित कोयले के 32 से ज्यादा रेक रोज पहुंचाने के लिए लंबी दूरी तय की। यह 457 किमी से 565 किमी की वृद्धि से स्पष्ट जाहिर होता है।

इस तरह के लगातार प्रयासों से, बिजली घरों में कोयले का स्टॉक कम होने की प्रवृत्ति बदल गई और नियमित रूप से बिजली घरों में कोयले के स्टॉक में सुधार होना शुरू हो गया।

कमोडिटी के हिसाब से वृद्धि के आंकड़े दिखाते हैं कि भारतीय रेलवे ने निम्नलिखित वृद्धि दर के साथ लगभग सभी माल क्षेत्रों में शानदार वृद्धि हासिल की है:

 

माल

बदलाव (एमटी)

% बदलाव

कोयला

13.19

26.23

सीमेंट और क्लिंकर

1.68

15.38

खाद्यान्न

0.64

11.55

पीओएल

0.47

12.90

कंटेनर्स

0.32

5.13

बाकी अन्य सामान

1.57

17.37

 

एमजी/एएम/एएस