आगे बढ़ने के लिए अपने ज्ञान को अपडेट करते रहे -अध्यक्ष, राजस्थान प्रदूषण नियंत्रण मंडल

चार दिवसीय इन्जीनियर्स प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन
आगे बढ़ने के लिए अपने ज्ञान को अपडेट करते रहे-अध्यक्ष, राजस्थान प्रदूषण नियंत्रण मंडल
राजस्थान प्रदूषण नियंत्रण मंडल की अध्यक्ष श्रीमती वीनू गुप्ता ने कहा कि आगे बढ़ने के लिए अपने ज्ञान को अपडेट करते रहे तभी प्रशिक्षण कार्यक्रम की सार्थकता है।
श्रीमती गुप्ता गुरूवार को यहां राजस्थान प्रदूषण नियंत्रण मंडल और मालवीय नेशनल इंस्टीट्यूट  ऑफ टेक्नोलॉजी के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित चार दिवसीय इन्जीनियर्स प्रशिक्षण कार्यक्रम के समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहीं थीं। उन्होंने कहा कि सभी इन्जीनियर्स अपनी कार्य योजना का रोडमेप तैयार करें जिसे आवश्यकतानुसार क्रियान्वित किया जा सके।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में स्थानीय अनुमानित अपशिष्ट जल 1500 मिलीयन से अधिक है जबकि वर्तमान में केवल 700 मिलीयन पानी का उपचार किया जा रहा है। वर्तमान स्थिति को देखते हुये बड़ी संख्या में नवीन सीवेज उपचार सयंत्राें का निर्माण आवश्यक है साथ ही सीवेज उपचार संयंत्रो को उन्नत करने की आवश्यकता भी है।
चार दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में 15 जिलों से आये 34 इंजीनियर्स ने भाग लिया। प्रशिक्षण कार्यक्रम में मालवीय राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान के प्रोफेसर्स द्वारा सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के तकनीकी पक्ष में सुधार, उन्नयन, संचालन और रख-रखाव के विभिन्न सत्रों का आयोजन किया गया।

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प्रशिक्षण कार्यक्रम में एमएनआईटी के निदेशक प्रोफेसर उदयकुमार आर ने प्रशिक्षणकर्ताओं को सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के बारे में विस्तार से समझाया। कार्यक्रम में सिविल इंजीनियरिंग के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर संजय माथुर और डीन एकेडमिक प्रोफेसर उर्मिला भृगु ने भी प्रशिक्षण कर्ताओं का सम्बोधित किया ।
  मुख्य पर्यावरण अभियंता डा. विजय सिंघल ,वरिष्ठ पर्यावरण अभियंता  श्री नीरज माथुर एवं श्री भुवनेश माथुर द्वारा पर्यावरण कानूनों की वैधानिकता और अनुपालना आवश्यकताओं के बारे में एक संवादात्मक सत्र आयोजित किया गया जिसमें एस टी पी के महत्व उसके समुचित उपचार और उपचारी जल के पुनः उपयोग  के बारे में बताया गया।
कार्यक्रम के समापन पर प्रशिक्षणार्थियों को प्रमाण पत्र भी वितरित किये गये ।