2 साल: नव उत्थान-नई पहचान, बढ़ता राजस्थान- हमारा राजस्थान

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राजस्थान रोडवेज का कायाकल्प: सुशासन और जनसेवा की प्रतिबद्धता


जयपुर/सवाई माधोपुर, 9 दिसम्बर। राज्य सरकार के दो वर्ष पूरे होने पर, राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम लिमिटेड (RSRTC) के पुनरुत्थान को मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा के सुशासन, दूरदर्शिता और जनसेवा की प्रतिबद्धता का परिचायक माना गया है। राजस्थान जैसे विशाल राज्य में, परिवहन व्यवस्था को आर्थिक गतिविधियों की रीढ़ और आमजन के जीवन की सुगमता का आधार माना जाता है। पुरानी बसों, लगातार घाटे और कम होती यात्री संख्या की चुनौतियों से जूझ रहे रोडवेज के रिवाइवल के लिए सरकार ने निर्णायक कदम उठाए हैं।


📉 घाटा कम करने और दक्षता बढ़ाने पर जोर

मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में रोडवेज को आधुनिक और प्रतिस्पर्धी बनाने के लिए बेड़े के नवीनीकरण को अनिवार्य माना गया। सरकार ने सबसे पहले संचालन व्यवस्था में पारदर्शिता और दक्षता पर ध्यान केंद्रित किया।

  • डीजल की छीजत पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया गया, जो वर्षों से रोडवेज के घाटे का एक बड़ा कारण थी।

  • रूट प्लानिंग, बस संचालन और संसाधनों के उपयोग को व्यवस्थित किया गया।

इन सुधारों के परिणामस्वरूप, यात्रियों की संख्या और बसों द्वारा प्रतिदिन तय किए जाने वाले औसत किलोमीटर में उल्लेखनीय वृद्धि हुई।

💰 संचालन घाटे में बड़ी कमी

इन समेकित प्रयासों का सबसे बड़ा परिणाम यह रहा कि रोडवेज का संचालन घाटा, जो पहले लगभग एक हजार करोड़ रुपये प्रतिवर्ष था, वह घटकर करीब तीन सौ करोड़ रुपये रह गया है। यह कमी राजस्थान रोडवेज के इतिहास में सबसे महत्वपूर्ण सुधारों में गिनी जा रही है।


🛣️ 810 नई बसें और 352 अनुबंधित बसें

यात्रियों को अधिक सुरक्षित, आरामदायक और समयबद्ध यात्रा उपलब्ध कराने के लिए बेड़े को मजबूत किया गया।

  • 810 नई बसें खरीदी गईं।

  • 352 बसें अनुबंध के आधार पर शामिल की गईं।

नई बसों के जुड़ने से जनता को बेहतर यात्रा सुविधा मिली, और बढ़े हुए नेटवर्क तथा बेहतर सेवाओं ने रोडवेज की कमाई पर भी सकारात्मक प्रभाव डाला।


🎯 भविष्य की योजनाएँ

यह परिवर्तन केवल शुरुआत है। राज्य सरकार ने लोककल्याणकारी निर्णयों को जारी रखते हुए रोडवेज़ के लिए आगे की योजना भी बनाई है:

  • आने वाले समय में रोडवेज के बेड़े में 800 और नई बसें शामिल की जानी हैं।

  • इसका लक्ष्य रोडवेज के तेजी से कम हो रहे घाटे को पूरी तरह समाप्त कर उसे लाभदायक इकाई बनाना है।

  • सरकार की योजना है कि रोडवेज को आधुनिक तकनीक, सुरक्षित यात्रा और वित्तीय आत्मनिर्भरता के साथ ऐसे स्तर पर पहुंचाया जाए, जहां वह प्रदेश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान जारी रख सके।

राजस्थान रोडवेज का यह कायाकल्प सुशासन, जवाबदेही और जन-केंद्रित नीतियों का एक मजबूत उदाहरण बनकर सामने आया है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था नई दिशा और ऊर्जा के साथ आगे बढ़ रही है।

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