पारादीप पोर्ट ट्रस्ट ने गति शक्ति पर कार्यशाला आयोजित की

पारादीप पोर्ट ट्रस्ट ने गति शक्ति पर कार्यशाला आयोजित की

पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय के तहत पारादीप पोर्ट ट्रस्ट (पीपीटी) ने आज भुवनेश्वर में गति शक्ति पर एक कार्यशाला का आयोजन किया। इस कार्यशाला की विषयवस्तु “गति शक्ति – एकीकृत और निर्बाध आपूर्ति श्रृंखला के लिए क्रांतिकारी मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी” थी। इस कार्यशाला के उद्घाटन सत्र के दौरान मंत्रालय के सचिव डॉ. संजीव रंजन ने कहा कि दक्षता और लागत से संबंधित मामलों का समाधान करके पीपीटी में एक विश्व स्तरीय पत्तन बनने की क्षमता है। उन्होंने गति शक्ति के तहत एनएच-53 (पारादीप से चंडीखोल) के चौड़ीकरण में तेजी लाने का आह्वाहन किया। इसके अलावा उन्होंने एसएच-12 (पारादीप से कटक) के भी चौड़ीकरण यानी चार लेन करने के कार्य को प्राथमिकता के आधार पर करने की बात की। सचिव ने आगे कहा कि जलमार्ग प्रभावी लॉजिस्टिक्स परिवहन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। पीपीटी का प्रस्तावित नदी पत्तन इस दिशा में उठाया गया सही कदम है। गति शक्ति के तहत एक उचित लॉजिस्टिक्स कानूनी ढांचे की जरूरत पर जोर देते हुए डॉ. संजीव रंजन ने कहा कि मौजूदा लॉजिस्टिक्स परिवहन लागत के 30 फीसदी को वर्तमान में विश्व स्तर के 7-8 फीसदी तक कम करने के लक्ष्य को देखते हुए इस पहल से लॉजिस्टिक्स क्षेत्र को एक प्रोत्साहन मिलेगा। उन्होंने आगे सालेगांव से पारादीप तक समर्पित हैवी हॉल रेल गलियारे का भी सुझाव दिया।

 

इंडस्ट्रियल प्रोमोशन एंड इन्वेस्टमेंट कारपोरेशन ऑफ ओडिशा लिमिटेड (आईपीआईसीओएल) और ओडिशा इंडस्ट्रियल इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कारपोरेशन (इडको) के प्रबंध निदेशक (एमडी) श्री भूपिंदर सिंह पुनिया ने बताया कि ओडिशा सरकार ने हर साल 100 मिलियन मीट्रिक टन इस्पात उत्पादन का लक्ष्य रखा है। यह सरकार पत्तन आधारित औद्योगीकरण पर भी जोर दे रही है। वहीं, कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए 600 किलोमीटर की सड़क के विस्तार की योजना बनाई जा रही है। राइट्स (रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकनोमिक सर्विस) ओडिशा के लिए व्यापक लॉजिस्टिक्स अध्ययन तैयार करने में लगा हुआ है। इसके अनुरूप पारादीप के लिए एक व्यापक औद्योगिक योजना की तैयारी की जा रही है। कंटेनर युक्त कार्गो के लिए पीपीटी की पहल से राज्य के कृषि और समुद्री उत्पादों में सुधार होगा।

पीपीटी के अध्यक्ष श्री पी. एल. हरनाध ने क्षमता संवर्द्धन योजनाओं, परिवहन के विभिन्न तरीकों के समन्वय के प्रयासों और पत्तन से संबंधित पहल को लेकर सुगमता पर एक विस्तृत प्रस्तुति दी। पारादीप पत्तन के पास हर साल 60 मिलियन मीट्रिक टन तापीय कोयले के तटीय पोत परिवहन को संभालने की क्षमता है। उन्होंने कोल इंडिया और रेल से पारादीप को तापीय कोयले के रेक आवंटन को बढ़ाने का अनुरोध किया।

इस कार्यशाला में उद्घाटन सत्र के बाद दो तकनीकी सत्र आयोजित किए गए। पीपीटी के उपाध्यक्ष श्री ए. के. बोस ने “तापीय कोयले के तटीय परिवहन – अवसर और चुनौतियां” पर एक सत्र का संचालन किया। वहीं, दोपहर बाद कलिंगा इंटरनेशनल कोल टर्मिनल पारादीप प्राइवेट लिमिटेड (केआईसीटीपीपीएल) के सीईओ श्री बी. के. जोशी ने ‘लॉजिस्टिक्स श्रृंखला का रूपांतरण और विस्तार – औद्योगिक परिप्रेक्ष्य’ विषयवस्तु पर एक सत्र का संचालन किया।

****

एमजी/एएम/एचकेपी/सीएस

G News Portal G News Portal
12 0

0 Comments

No comments yet. Be the first to comment!

Leave a comment

Please Login to comment.

© G News Portal. All Rights Reserved.