कोटा: कोटा रेल मंडल में ओवरलोडिंग का मामला थमने का नाम नहीं ले रहा है। गुरुवार को एक बार फिर एक ओवरलोड मालगाड़ी पकड़ी गई है। यह पिछले 10 दिनों में चौथा ऐसा मामला है।
सूत्रों के मुताबिक, मथुरा से आई इस मालगाड़ी को सवाई माधोपुर में तौला गया था। यहां यह पाया गया कि मालगाड़ी के 37 डिब्बों में निर्धारित से अधिक माल लोड किया गया था। प्रारंभिक जांच में मालगाड़ी में करीब 4 टन अतिरिक्त माल होने का अनुमान लगाया गया है।
क्या था माल?
यह मालगाड़ी भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) की थी और इसमें गेहूं के कट्टे भरे हुए थे। कोटा में एफसीआई गोदाम में माल की ओपन डिलीवरी दी गई है। अब एफसीआई वाले भी इस माल को अपने यहां तोलेंगे ताकि माल के वास्तविक वजन का पता चल सके।
ओवरलोडिंग का लगातार मामला
पिछले 10 दिनों में कोटा में यह ओवरलोड मालगाड़ी का चौथा मामला है। इससे पहले भी कई बार ओवरलोड मालगाड़ी पकड़ी जा चुकी हैं। लगातार मिल रहे ऐसे मामलों से रेलवे प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं।
ओवरलोडिंग के खतरे
ओवरलोडिंग से रेलवे ट्रैक और पुलों पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है, जिससे दुर्घटना का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा, ओवरलोडिंग से रेलवे संपत्ति को नुकसान पहुंचता है और रेलवे को आर्थिक नुकसान होता है।
रेलवे प्रशासन की क्या है जिम्मेदारी?
रेलवे प्रशासन का दायित्व है कि वह यह सुनिश्चित करे कि कोई भी मालगाड़ी ओवरलोड न हो। इसके लिए रेलवे प्रशासन को सख्त कदम उठाने चाहिए और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए।
इस घटना से क्या सबक मिलता है?
यह घटना एक बार फिर रेलवे सुरक्षा के महत्व को उजागर करती है। रेलवे प्रशासन को यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कड़े कदम उठाने होंगे।
No comments yet. Be the first to comment!
Please Login to comment.
© G News Portal. All Rights Reserved.