Panchna Bandh : संभागीय आयुक्त भरतपुर की तीसरी बैठक में भी अनसुलझा रहा पांचना बांध का पेच

पहले 39 गांव में पानी देने की मांग पर अड़ी गुडला पांचना संघर्ष समिति
जिले के सबसे बड़े बांध पांचना की नहरों में डेढ़ दशक से पानी छोड़ने का पेच फंसा हुआ है जो तीसरी बैठक के बाद में भी नहीं सुलझा रहा है समिति और समझा इसके लिए बार-बार प्रयास और मीटिंग दर मींटिंग तेज होने के बावजूद पानी छोड़ने की बात पर सहमति नहीं बन पा रही है पिछले करीब 1 माह की अवधि में गुरुवार को तीन बार यहां कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बैठक में एक बार फिर बैठक बेनतीजा रहे इस मुद्दे को लेकर भरतपुर संभाग आयुक्त पीसी बेरवाल की अध्यक्षता में गुडला पांचना संघर्ष समिति सदस्यों की बैठक में संभागीय आयुक्त ने कहा कि गुडला पांचना परियोजना पूरी हो चुकी है ऐसे में कमांड क्षेत्र की नहरों में पानी छोड़ा जा सकता है इसके लिए उन्होंने संघर्ष समिति के सदस्यों की सहमति की बात कही लेकिन समिति के सदस्यों ने एक बार फिर 39 गांवों में पानी मिलने पर ही बाद में नहरों के लिए पानी छोड़ने की मांग दोहराते हुए दो टूक शब्दों में नहर में पानी छोड़ने से इनकार कर दिया समिति के अध्यक्ष बसंता राम, अशोक धांवाई बालेराम पटेल ,सिद्धे पटेल, भानु प्रताप गुर्जर, एडवोकेट रामस्वरूप बैंसला आदि बोले की लिफ्ट परियोजना में 39 गांवों को शामिल किया जाना था लेकिन उन्होंने महज 13 गांव के लिए परियोजना बनाइ उन्होंने फिर दोहराया कि परियोजना में घटिया स्तर का कार्य कराया गया है नहरों की चौड़ाई नहीं है जिस काम को अधिकारी बता रहे हैं वह काम भी धरातल पूरा नहीं है सदस्यों ने दोहराया कि पांचना बांध निर्माण में उनकी भूमि चली गई है अब उन्हें पानी नहीं मिल रहा है जब तक बांध के आसपास के 39गांव में पानी सिंचाई के लिए नहीं मिल पाएगा तब तक पानी नहीं छोड़ा जा सकता बैठक में जल संसाधन विभाग के अधीक्षण अभियंता के अधिशासी अभियंता सुनील कुमार गुप्ता ने कहा कि गुडला पांचना लिफ्ट परियोजना 13 गांव के लिए तैयार हुई है 13 गांव के लिए तैयार हुई पांचना से लिफ्ट बनाकर 200 एमसीएफटी पानी छोड़ा जा सकता है इससे ज्यादा पानी देने की स्थिति में नहीं है गौरव तलव है की करौली जिला में पांचना बांध के निर्माण का उद्देश्य करौली सवाई माधोपुर जिले के 34 गांव में करीब 10000 हेक्टेयर भूमि को सिंचित करने का था लेकिन वर्ष 2006 से इसी विवाद के चलते पांचना बांध से नहरों में पानी नहीं छोड़ा जा रहा है बैठक में जिला कलेक्टर राजेंद्र सिंह शेखावत जिला पुलिस अधीक्षक शैलेंद्र सिंह अतिरिक्त जिला कलेक्टर परसराम मीणा उपखंड अधिकारी धीरेंद्र सिंह सहित अन्य अधिकारी समिति के सदस्य मौजूद रहे (“एक बात और है कि चंबल नदी का पानी नदी में लाओ बैठक में गुडला पांचना लिफ्ट परियोजना के लिए 200 एमसीएफटी से अधिक पानी नहीं देने की बात सामने आई समिति सदस्यों ने कहा कि इसके समाधान के लिए चंबल नदी से पानी पांचना बांध में लाया जा सकता है जिससे कमांड इलाके में ही नहीं अन्य जगह के लिए भी पानी उपलब्ध हो सकता है इस पर संभागीय भरतपुर ने कहा कि समिति की मांग से उच्च अधिकारियों को अवगत कराया जाएगा )

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संभागीय आयुक्त भरतपुर पीसी बेरवाल ने कहा कि हम लगातार वार्ता कर सहमति बनाने के प्रयास कर रहे हैं समिति को तथ्यों के साथ लिफ्ट परियोजना में काम हुआ है उस बारे में विस्तार से बात बताई है गुडला पांचना लिफ्ट परियोजना का कार्य पूर्ण हो चुकी है जो पानी उपलब्ध है उसे सिंचाई के लिए छोड़ने की समझाइश किए लेकिन समिति की ओर से 39गांव में पानी की मांग की जा रही है इस बारे में उच्चाधिकारियों को अवगत कराया जाएगा हमारी पहली प्राथमिकता सहमती और वार्ता से ही काम करना है अशोक सिंह धाबाई सदस्य गुडला पांचना संघर्ष समिति हम सरकार से 39 नए गांव में शांतिपूर्ण तरीके से पानी मांग रहे हैं बांध निर्माण में हमारी जमीन चली गई है ऐसे में पहले इन गांवों को पानी मिलना चाहिए विभाग ने 39 नए गांव की डीपीआर बनाई लेकिन तेरा गांव को जोड़ा 39नए गांव में पानी मिलने पर नहर में पानी छोड़ा जा सकता है

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सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि वर्ष 2006 से 2022 तक कमांड क्षेत्र में पानी नहीं खोला जा रहा है जिसके कारण नहरें छतिग्रस्त हो गई है बिना रखरखाव के इसलिए नहरों की सफाई और उन्हें ठीक करवाया जाना उचित रहेगा
पीलोदा गांव में नहर का दृश्य जीर्ण शीर्ण अवस्था में पांचना बांध की नहर का हैं
राजेश आदिवासी रिंग्सपुरा ने कमान्ड क्षेत्र का दौरा कर नहर की स्थिति को देखा और इस पर चिंता व्यक्त की गंभीरता पूर्वक विचार किया जाना चाहिए नहरों के रखरखाव को लेकर