प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने बजट पर हितधारकों के बीच जागरूकता और स्वामित्व की भावना पैदा करने के लिए कृषि और संबद्ध क्षेत्र के लिए ‘स्मार्ट कृषि’ विषय पर वेबिनार का उद्घाटन किया

प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में सहकारिता क्षेत्र को उचित गति प्रदान करने के उद्देश्य से केंद्र सरकार ने पिछले साल जुलाई में नए सहकारिता मंत्रालय का गठन किया था। केन्द्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह को नवगठित सहकारिता मंत्रालय का कार्यभार सौपा गया। तत्पश्चात यह मंत्रालय श्री अमित शाह के कुशल नेतृत्व में सतत प्रगति करते हुए नई सहकारिता नीति तथा योजनाओं के सृजन पर कार्य कर रहा है I

इसी सन्दर्भ में बजट पर हितधारकों के बीच जागरूकता और स्वामित्व की भावना पैदा करने के लिए केंद्र सरकार ने कृषि और संबद्ध क्षेत्र के लिए आज ‘स्मार्ट कृषि’ विषय पर एक वेबिनार का आयोजन किया। वेबिनार में ‘सहकारिता से समृद्धि’ विषय पर सहकारिता मंत्रालय ने भी भागीदारी की I प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वेबिनार का उद्घाटन किया। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि हमारी सरकार ने सहकारिता से जुड़ा एक नया मंत्रालय बनाया है, जिसका उद्देश्य सहकारी समितियों को एक सफल व्यावसायिक उद्यम में बदलना है।

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केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह के मार्गदर्शन में सहकारिता मंत्रालय नई सहकार नीति के साथ साथ कई नई योजनायें लाने की ओर अग्रसर है जिसमें हित-धारकों द्वारा दिए गए विभिन्न सुझावों को शामिल किया जाएगा।

सहकारिता मंत्रालय के इस वेबिनार की अध्यक्षता मतस्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री श्री परषोत्तम रुपाला ने की, जिसमें केन्द्रीय सहकार राज्य मंत्री श्री बी.एल. वर्मा ने भी सहभागिता की। पशुपालन एवं डेयरी सचिव श्री अतुल चतुर्वेदी, सहकारिता सचिव श्री देवेन्द्र कुमार सिंह तथा अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे | इस वेबिनार में सहकारिता के क्षेत्र से जुड़े विभिन्न संगठनों जैसे AMUL, NCUI, NAFCUB, IRMA, VAMNICOM इत्यादि तथा राज्य सरकारों के प्रतिनिधियों ने सक्रिय भागीदारी की |

इस वेबिनार के अंतर्गत बजट वर्ष (2022-23) के विभिन्न उपबंधो तथा सहकारिता से जुड़े प्रमुख बिन्दुओं पर चर्चा हुई जो इस प्रकार हैं :

 

वेबिनार के दौरान सहकारिता मंत्रालय से जुड़े निम्नलिखित प्रमुख विषयों पर परिचर्चा भी की गई :

 

क. प्राथमिक कृषि ऋण सहकारी समितियों का डिजिटलीकरण

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ख. सहकारी समितियों के राष्ट्रीय डेटाबेस के निर्माण की योजना

ग. सहकारी शिक्षा और प्रशिक्षण योजना

घ. सहकारी ऋण गारंटी निधि

ङ. सहकारिता से समृद्धि योजना

च. राष्ट्रीय सहकार नीति

 

इस वेबिनार में विभिन्न संगठनों तथा राज्य सरकारों द्वारा कई महत्वपूर्ण सुझाव दिए गए जैसे कि उपयोगोन्मुखी डेटाबेस साझा करने और एक्सेसिबिलिटी नीति का निर्धारण, VAMNICOM, पुणे का राष्ट्रीय महत्व के स्वायत्त संस्थान के रूप में स्थापन, जमीनी स्तर पर ऋण प्रवाह को सुगम करने के लिए सहकारिता क्रेडिट गारंटी ट्रस्ट का निर्माण, सहकारिता क्षेत्र में ब्रांडिंग, मार्केटिंग का सुदृढ़ीकरण करना, उत्पाद विविधता को सुनिश्चित करना तथा आधुनिक तकनीकी और स्टार्ट-अप द्वारा नवाचार का उपयोग करना।

इस एक-दिवसीय वेबिनार के माध्यम से यह सामने आया कि सहकारिता देश के सामाजिक-आर्थिक ढांचे की रीढ़ है और यह एकमात्र ऐसा मॉडल है जो समावेशी विकास लाता है। वेबिनार में सम्मिलित प्रतिभागियों से यह भी आग्रह किया गया कि वे अपने सुझाव [email protected] पर प्रेषित करें।

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