असंगठित और संगठित दोनों क्षेत्रों में श्रमिकों का कल्याण अत्‍यावश्‍यक है, सरकार लैंगिक न्याय और सुगमतापूर्ण जीवन के साथ-साथ कारोबार में सुगमता सुनिश्चित करने की दिशा में काम कर रही है: श्री भूपेंद्र यादव

केन्‍द्रीय श्रम और रोजगार मंत्री श्री भूपेंद्र यादव ने श्रम और रोजगार राज्य मंत्री श्री रामेश्वर तेली तथा पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय में सचिव (एल और ई) श्री सुनील बर्थवाल की उपस्थिति में आज मुख्य श्रम आयुक्त (केन्‍द्रीय) का एक नया प्रतीक चिन्‍ह (लोगो) लांच किया। संगठन को 1945 में स्‍थापित किया गया था और इसे केन्‍द्रीय औद्योगिक संबंध मशीनरी (सीआईआरएम) के रूप में भी जाना जाता है।

इस अवसर पर श्री यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में सरकार लैंगिक न्याय और सुगमतापूर्ण जीवन के साथ-साथ कारोबार में सुगमता सुनिश्चित कर रही है।

A logo reflects the vision of an organisation. Launched the revamped logo of the Chief Labour Commissioner (Central) organisation, symbolising the spirit of Shramev Jayate. The govt, under the leadership of PM Shri @narendramodi ji, is committed to the welfare of India’s labour. pic.twitter.com/Ebte6L8Xfv

केन्‍द्रीय श्रम और रोजगार मंत्री ने कहा कि लोगो किसी संगठन का प्रतीक है और उसकी परिकल्‍पना को दर्शाता है। उन्‍होंने जोर देकर कहा कि नई श्रम संहिता मुख्य रूप से असंगठित श्रमिकों के साथ-साथ संगठित श्रमिकों के लिए सुरक्षा, स्वास्थ्य और कल्याण के प्रावधान लागू करने के लिए सीएलसी संगठन की जिम्मेदारी को बढ़ाएगी। उन्‍होंने कहा कि कि न केवल असंगठित कामगारों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए, उनका जीवन और काम करने का माहौल भी सुरक्षित रहे।

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श्री यादव ने कहा, “नए कोड नियोक्ताओं को शिक्षित करके कानून का पालन करने और कल्याण, सुरक्षा तथा स्वास्थ्य प्रावधानों के बारे में श्रमिकों के बीच जागरूकता लाने के लिए सहायक के रूप में अधिकारियों को अतिरिक्त जिम्मेदारी प्रदान करते हैं।” अब आईटी सक्षम प्रणाली इलेक्ट्रॉनिक तरीके से कानून के अनुपालन में नियोक्ताओं की मदद करेगी।

श्री यादव ने ई-श्रम पोर्टल के बारे में कहा कि पहले असंगठित श्रमिकों के आंकड़े उपलब्ध नहीं थे, अब सरकार ने ई-श्रम पोर्टल शुरू किया है और सभी अधिकारी समर्पित होकर काम कर रहे हैं तथा कम अवधि में असंगठित क्षेत्र के 4 करोड़ से अधिक कामगारों को ई-श्रम पोर्टल पर पंजीकृत किया गया है।

सचिव (एल एंड ई) श्री सुनील बर्थवाल, ने कहा कि सीएलसी संगठन सामंजस्यपूर्ण औद्योगिक संबंध बनाए रखने और श्रम कानूनों को लागू करने तथा जमीनी स्तर पर कानून का पालन सुनिश्चित करने के लिए आवश्‍यक कार्य कर रहा है। नई श्रम संहिता से सीएलसी संगठन की जिम्मेदारी बढ़ जाएगी जो श्रमिकों की सुरक्षा के कारोबार को सुगम बनाने को संतुलित करेगा। सचिव ने इस बात पर प्रकाश डाला कि अब आईटी सक्षम प्रणाली नियोक्ताओं को इलेक्ट्रॉनिक रूप से कानून के अनुपालन में मदद करेगी।

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मुख्य श्रमायुक्त (केन्द्रीय) श्री डी.पी.एस. नेगी ने कहा कि अधिकारी अपनी नियमित ड्यूटी के अलावा ई-श्रम पोर्टल पर असंगठित कामगारों के पंजीकरण के लिए ईमानदारी और समर्पण के साथ जागरूकता शिविरों का आयोजन कर रहे हैं।

मुख्य श्रम आयुक्त (केन्‍द्रीय) संगठन की स्थापना 1945 में हुई थी, जिसे केन्‍द्रीय औद्योगिक संबंध मशीनरी (सीआईआरएम) के रूप में भी जाना जाता है, यह श्रम और रोजगार मंत्रालय का एक संलग्न कार्यालय है। सीआईआरएम के प्रमुख मुख्य श्रम आयुक्त (केन्‍द्रीय) होते हैं। यह एक विशिष्ट संगठन है और निम्‍न कार्यों को करता है; –

सामंजस्यपूर्ण औद्योगिक संबंध बनाए रखना, श्रम कानूनों का कार्यान्वयन और प्रवर्तन, श्रमिकों की शिकायतों का निवारण, श्रमिकों का कल्याण, देश में केंद्रीय ट्रेड यूनियनों की सदस्यता का सत्यापन।

प्रतीक चिन्‍ह (लोगो) एक संगठन की पहचान है, पहले सीएलसी (सी) संगठन का कोई प्रतीक चिन्‍ह नहीं था, वर्ष 2016 में ओ / ओ सीएलसी (सी) ने एक प्रतीक चिन्‍ह अपनाया। अब संगठन के स्पष्ट आदेश और अन्य सुधारों को प्रतिबिंबित करने के लिए लोगो में परिवर्तन किए गए हैं।

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एमजी/एएम/केपी/वाईबी