अक्षय ऊर्जा निगम सवा करोड़ की लागत की आधुनिकतम सुविधायुक्त प्रिवेंटिव आंकोलोजी वैन कराएगी उपलब्ध, जल्द निदान से मिलेगी कैंसर पर विजय-एसीएस ऊर्जा

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अक्षय ऊर्जा निगम सवा करोड़ की लागत की आधुनिकतम सुविधायुक्त प्रिवेंटिव आंकोलोजी वैन कराएगी उपलब्ध, जल्द निदान से मिलेगी कैंसर पर विजय-एसीएस ऊर्जा जयपुर, 31 जनवरी। राजस्थान अक्षय उर्जा निगम और इसकी सहयोगी कंपनी समग्र रुप से एक करोड़ 25 लाख रुपये लागत की कैंसर डिटेक्शन, प्रिवेंशन और मैनेजममेंट की आधुनिकतम जांच उपकरणयुक्त प्रिेवेंटिव ऑंकोलोजी वैन उपलब्ध कराएगी। आरआरईसी के चेयरमेन और अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस, पेट्रोलियम एवं ऊर्जा डॉ. सुबोध अग्रवाल ने बताया कि पिछले दिनाेंं मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में कैंसर की जांच एवं निदान के लिए सभी संभागोंं में एक एक सुसज्जित वाहन उपलब्ध कराने की आवश्यकता प्रतिपादित की थी ताकि जल्द निदान होने से कैंसर जैसे दर्दनाक रोग पर विजय पाई जा सके। उन्हाेंंने बताया कि मुख्यमंत्री श्री गहलोत की पहल पर राज्य के सातों संभागों में सवा-सवा करोड़ रुपये की लागत की इस तरह की वाहन उपलब्ध कराने के लिए समन्वय कर सहमति हो गई है। जयपुर के लिए राजस्थान विद्युत प्रसारण निगम द्वारा पहले ही इस तरह की वाहन सवाई मानसिंह चिकित्सालय को उपलब्ध करा दी गई है वहीं अब बीकानेर के लिए राजस्थान अक्षय ऊर्जा निगम व इसकी सहयोगी संस्था द्वारा सीएसआर के तहत यह वैन उपलब्ध कराई जाएगी।एसीएस डॉ. अग्रवाल ने बताया कि मुख्यमंत्री श्री गहलोत की पहल व संवेदनशीलता का ही परिणाम है कि राज्य के सभी संभागों के लिए एक एक वाहन उपलब्ध कराने पर सहमति हो गई है। उन्होंने बताया कि अजमेर संभाग के लिए रिलायंस ने इस तरह की वाहन उपलब्ध करा दी है वहीं जोधपुर संभाग केे लिए हिंदुस्तान पेट्रोलियम, उदयपुर संभाग के लिए हिंदुस्तान जिंक, कोटा संभाग के लिए ग्रीनको, भरतपुर के लिए श्री एलएन मित्तल की संस्था द्वारा कैंसर जांच व निदान वाहन उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होेंने बताया कि राजस्थान अक्षय ऊर्जा निगम और सहयोगी संस्था राजस्थान सोलर पार्क डवलपमेंट कंपनी की सोमवार को आयोजित संचालक मण्डल व वार्षिक साधारण सभा में सीएसआर कोष से सवा करोड़ रुपये लागत की यह वाहन बीकानेर संभाग के लिए उपलब्ध कराने का निर्णय कर लिया गया है। इस तरह से सभी संभागों में आवश्यक उपकरणों से सुसज्जित एक-एक वाहन उपलब हो सकेगी।डॉ. अग्रवाल ने बताया कि मुख्यमंत्री श्री गहलोत कैंसर पीड़ितों के दर्द को समझते हुए गंभीर रहे हैं। उनका मानना है कि समय पर निदान से कैंसर को मात दी जा सकती है। इसीलिए उन्होंने इस तरह के वाहन की सभी संभागों में आवश्यकता प्रतिपादित की। उन्होंने बताया कि सवा करोड़ रुपये की इस प्रिवेंटिव ऑंंंकोलोजी वैन में डिजिटल कोल्पोस्काफी, डिजिटल एंडोस्कोफी, डिजिटल मेमोग्राफी, डिजिटल एक्स रे सुविधा से युक्त होने के साथ ही टेलीकंसलटेशन सुविधा उपलब्ध होगी। इससे मौके पर ही जांच व निदान की सुविधा उपलब्ध हो सकेगी। उन्होंने बताया कि सवाई मानसिंह चिकित्सालय के प्रोफेसर एवं हेड डिपार्टमेंट ऑफ सर्जिकल ऑंकोलाजी के विभागाध्यक्ष व नोडल आफिसर प्रिवेंटिव ऑकोलोजी डॉ. सुरेश सिंह को नोडल आफिसर है। यह वाहन संभाग में मोबाइल रुप से काम करते हुए कैंसर की मौके पर ही जांच व समय पर निदान में सहयोगी होगी। वाहन में प्रिवेंटिव सोशियल मेडिसन डॉक्टर की सेवाएं भी होगी तो मौके से ही विशेषज्ञ चिकित्सकों से टेलीकंसलेटेशन भी किया जा सकेगा।चैयरमेन आरआरईसी डॉ. सुबोध अग्रवाल ने बताया कि राजस्थान अक्षय उर्जा निगम और इसकी सहयोगी कंपनी का वर्ष 2020-21 के दौरान 162 करोड़ रु. से अधिक का सालाना कारोबार रहा है इससे पूर्व के वित्तीय वर्ष 2019-20 में 158 करोड़ 18 लाख रुपए का कारोबार रहा था। उन्होंने बताया कि निगम की वार्षिक साधारण सभा में राज्य सरकार को उसकी हिस्सा राशि पर एक करोड़ 29 लाख रुपए का लाभांश देने का निर्णय किया गया है।डॉ. अग्रवाल ने बताया कि सौर ऊर्जा के क्षेत्र में राजस्थान में नित नए कीर्तिमान व उपलब्धियां अर्जित की जा रही है। विश्व का सबसे बड़ा सोलर पार्क राजस्थान में बनने से प्रदेश की विश्वमानचित्र पर विशिष्ठ पहचान बनी है।बैठक में निगम के निदेशकों में वित्त सचिव श्री नरेश ठकराल, निदेशक तकनीकी श्री एनएस निर्वाण, मुख्य कंजरवेटर ऑफ फारेस्ट श्री डीएन पाण्डे, निदेशक ऑपरेशन श्री नरेन्द्र सुवालका, निदेशक डिस्कॉम श्री केपी वर्मा, रीको से श्री दिनेश पहाडिया, निदेशक वित्त श्री ललित वर्मा, महाप्रबंधक श्री सुमित माथुर व अन्य सदस्यों ने निगम की उपलब्धियों व गतिविधियों की सराहना करते हुए महत्वपूर्ण सुझाव भी दिए।—–