खान, पेट्रोलियम एवं गोपालन मंत्री ने ली खान विभाग एवं आरएसएमएमएल की समीक्षा बैठक

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खान, पेट्रोलियम एवं गोपालन मंत्री ने ली खान विभाग एवं आरएसएमएमएल की समीक्षा बैठकजयपुर, 21 जनवरी। खान, पेट्रोलियम एवं गोपालन मंत्री श्री प्रमोद जैन भाया ने शुक्रवार को खान एवं भूविज्ञान विभाग तथा राजस्थान स्टेट माइंस एंड मिनरल्स लिमिटेड (आरएसएमएमएल) की समीक्षा बैठक ली। उदयपुर के मधुबन स्थित आरएसएमएल सभागार में कोविड प्रोटोकॉल के साथ आयोजित समीक्षा बैठक के दौरान मंत्री श्री प्रमोद जैन भाया ने खान एवं भूविज्ञान तथा आरएसएमएल के राजस्व अर्जन को लेकर पीठ थपथपाई, तो अवैध माइनिंग और परिवहन के मामलों पर अंकुश लगाने के लिए सख्त कदम उठाने की नसीहत भी दी। उन्होंने कहा कि प्रकृति के साथ संतुलन स्थापित करते हुए अधिक से अधिक मात्रा में खनिजों का नीतिसंगत दोहन कर मानव कल्याण और रोजगार का मार्ग प्रशस्त करना है। उन्होंने कहा कि अवैध खनन को रोकने के लिए खान विभाग ने अच्छी मेहनत की है। पिछले तीन वर्षों में अवैध खनन के खिलाफ राज्य में अभूतपूर्व कार्यवाही हुई है, राजस्व अर्जन भी बढ़ा है, रिकॉर्ड संख्या में संसाधन जब्त हुए हैं, लेकिन इसके बावजूद अवैध खनन की जो शिकायतें आती हैं, उनको लेकर हम सभी को ज्यादा चौकस रहने की जरूरत है। हमारे प्रयास होने चाहिए कि जितनी सख्त हो सके, उतनी सख्त कार्यवाही करनी चाहिए। इससे विभाग का मनोबल बढ़ेगा और विभाग का इकबाल बुलंद होगा।श्री जैन ने विभिन्न माइंस एसोसिएशन के पदाधिकारियों की शिकायत का जिक्र करते हुए कहा कि मुझे बताया गया कि कई बार ऑक्शन में कोई व्यापारी प्लॉट लेता है, लेकिन उस पर कोई अवैध रूप से कब्जा या अतिक्रमण कर लेता है। ऎसे में हमारे अधिकारी संबंधित जिला कलक्टर या अन्य अधिकारी से संपर्क कर निवेशकों की मदद करें। यह हमारा नैतिक दायित्व भी बनता है कि यदि हमने किसी को जमीन ऑक्शन में दी है, तो उस पर अतिक्रमण या अवैध कब्जा न हो। समय पर काम चालू होगा तो हमारा भी रेवेन्यू बढे़गा और रोजगार के अवसर भी उपलब्ध होंगे।  उन्होंने उपस्थित अधिकारियों को नववर्ष की शुभकामना देते हुए कहा कि खान विभाग ने राजस्व प्राप्ति में इस बार गत वर्ष की तुलना में 1033 करोड़ रुपये का  अधिक राजस्व अर्जित किया है। राज्य में एम-सैंड नीति लागू करने के साथ ही हम सभी का दायित्व बनता है कि हम अधिक से अधिक लोगों को इसके प्रति जागरूक करें और एम-सैंड को बजरी के विकल्प के रूप में जन-जन तक पहुंचाए। उन्होंने कहा कि अप्रधान खनिजों के प्लाटों की नीलामी की प्रक्रिया में परिवर्तन के भी अच्छे परिणाम आए हैं। गत वर्षों की तुलना में प्लॉट भी अधिक नीलाम हुए और इससे राजस्व भी बढ़ा, लेकिन इस दिशा में अभी और प्रयास करने की आवश्यकता है। मंत्री ने विभाग में रिक्त पदों को भरने और विभागीय पदोन्नति समय पर करनेे, जिलों में डीएमएफटी की मीटिंग समय पर आयोजित करने, पत्रावलियों का निस्तारण समय पर करने, प्रयोगशाला में लंबित नमूनों की जांच के कार्य की गति बढ़ाने, मशीनों की गति कम है तो आउट सोर्स से काम कराने, राजस्थान स्टेट मिनरल एक्सप्लोरेशन ट्रस्ट के तहत नवाचार और आधुनिक तकनीक अपनाने के निर्देश दिए। मंत्री ने प्रयोगशाला तथा ड्रिलींग विंग के कार्यों पर असन्तोष व्यक्त करते हुए कहा गया कि कार्यों को लम्बित रखने की परम्परा अच्छी नहीं है। मंत्री महोदय ने अन्तर विभागीय मुद्दों के शीघ्र निस्तारण हेतु आश्वासन दिया।खान निदेशक डॉ. कुंज बिहारी पण्ड्या ने बताया कि चालू वित्तीय वर्ष में दिसम्बर तक कुल 6,640 प्रकरणों में कार्यवाही, 598 एफआईआर दर्ज, 6723 वाहन या मशीनें जब्त करते हुए 52.05 करोड़ की पेनल्टी लगाई गई है। पण्ड्या ने बताया कि चालू वित्तीय वर्ष में दिसम्बर तक अवैध बजरी परिवहन के कुल 4,132 प्रकरणों में कार्यवाही, 496 एफआईआर दर्ज, 4188 वाहन/मशीनरी जब्त करते हुए 30.92 करोड़ की पेनल्टी वसूली गई है।  इसके साथ ही अवैध खनन की जांच के लिए ड्रोन, सैटेलाइट इमेजिंग तकनीक का उपयोग किया जा रहा है। अवैध खनन के खिलाफ प्रभावी कार्यवाही जारी रहेगी। इससे पहले खान एवं भूविज्ञान विभाग के निदेशक डॉ. कुंजबिहारी पण्ड्या और राजस्थान स्टेट माइंस एंड मिनरल्स लि. उदयपुर के प्रबंध निदेशक ओम कसेरा ने मंत्री प्रमोद जैन भाया को महत्वपूर्ण उपलब्धियों, खनिज विकास, राजस्व प्राप्ति, बजट घोषणाओं की प्रगति, अंतरविभागीय मुद्दों, संपर्क पोर्टल, आगामी कार्य योजना सहित विभिन्न विभागीय गतिविधियों से अवगत कराया। इस दौरान खान एवं भूविज्ञान विभाग और आरएसएमएल के अन्य अधिकारी उपस्थित थे।  —–